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गेसर (Geyser) का अध्ययन भूगोल विषय में विशेष महत्व रखता है, विशेषकर उन छात्रों के लिए जो B.A, M.A, UGC NET, UPSC, RPSC, KVS, NVS, DSSSB, HPSC, HTET, RTET, UPPCS, BPSC जैसी प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे हैं। गेसर या उष्णोत्स गर्म जल के स्रोत होते हैं, जो समय-समय पर गर्म जल और वाष्प को फुहारे के रूप में निकालते हैं। यह ज्वालामुखी क्रिया के गौण रूप होते हैं और विशेष प्रकार की भूगर्भीय संरचनाओं से जुड़े होते हैं। इस लेख में गेसर के अर्थ, प्रकार, वितरण और इनके गर्म जलस्रोत से अंतर पर विस्तृत जानकारी प्रदान की गई है, जो भूगोल के गहन अध्ययन और प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए अत्यंत उपयोगी सिद्ध होगी। |
इस लेख में हम गेसर के अर्थ, प्रकार एवं वितरण के बारे में विस्तार से जानेंगे।
गेसर का अर्थ (meaning of geyser )
गेसर या उष्णोत्स एक प्रकार का गर्म जल का स्त्रोत होता है, जिससे समय-समय पर गर्म जल तथा वाष्प निकलता रहता है। ‘गेसर’ शब्द की उत्पत्ति आइसलैंड की भाषा के शब्द ‘गेसिर’ (geysir) से हुई है, जिसका शाब्दिक अर्थ होता है ‘तेजी से उछलता हुआ’ (gusher) अथवा ‘फुहार छोड़ने वाला’ (spouter)। वास्तव में ‘गेसर’ शब्द का प्रयोग आइसलैण्ड के उष्ण जल के स्रोत ‘ग्रेट गेसर’ के उछलते हुए जल के लिए ही किया गया था।
ज्वालामुखी क्षेत्रों में उद्गार के समय दरारों तथा सुराखों से होकर कुछ समय अन्तराल पर गर्म जल निकलता रहता है, जिसको गेसर कहा जाता है। इस प्रकार हम कह सकते हैं कि ‘गेसर’ ज्वालामुखी क्रिया का ही गौण रूप है। दूसरे शब्दों में, ” गेसर सविराम गर्म जल के स्रोत होते हैं, जो कि समय-समय से अपने मुख से गर्म जल की फुहारें तथा वाष्प छोड़ते हैं”।
गेसर का मुख नीचे भूमिगत जल भण्डार से एक नली द्वारा जुड़ा होता है। इस नली को गेसरद्रोणी या गेसरनली कहते हैं। यह प्रायः पतली तथा लम्बी, परन्तु टेढ़ी-मेढ़ी होती है। इसकी लम्बाई विभिन्न स्थानों पर 100 फीट से 400 फीट के बीच होती है।
गेसर (geyser) तथा गर्म जलस्रोत (hot springs) में अंतर
यद्यपि गेसर तथा गर्म जलस्रोत (hot springs) समान होते हैं, परन्तु एक से नहीं होते हैं। गर्म जलस्रोत से वाष्प तथा गर्म जल निरन्तर निकला करता है.। इसकी क्रिया में किसी प्रकार का अवकाश नहीं पाया जाता है। यह अविराम (with intervals) सक्रिय रहता है। इसके विपरीत गेसर में अवकाश के बाद या सविराम (without intervals) गर्म जल तथा वाष्प को फुहारे के रूप में ऊपर उछालता रहता है।
दूसरा अन्तर दोनों की वाष्प तथा गर्म जल को निश्चित ऊँचाई तक उछालने की क्षमता का होता है। गर्म जलस्रोत द्वारा वाष्प तथा उष्ण जल कुछ ऊँचाई तक उछलता है। कभी-कभी यह ऊंचाई 1500 फीट तक हो जाती है जैसा कि न्यूजीलैण्ड के वायमान्गू गेसर में ऐसा हुआ था।
कुछ विद्वान गेसर तथा गर्म जलस्रोत को अलग-अलग दो रूप नहीं मानते और गर्मस्रोत को गेसर का ही एक प्रकार बताते हैं । लेकिन यह मत अमान्य है। गेसर की श्रेणी में गर्म जलस्रोत को कभी शामिल नहीं किया जा सकता है।
गेसर के प्रकार (types of geyser)
गेसर का सम्बन्ध ज्वालामुखी क्रिया से है तथा यह वर्तमान जाग्रत ज्वालामुखी क्षेत्रों में पाया जाता है। वास्तव में गेसर ज्वालामुखी क्रिया का एक गौण रूप है। गेसर की प्रक्रिया में पर्याप्त अन्तर पाया जाता है। कभी- कभी गेसर द्वारा बहुत अधिक मात्रा में गर्म जल तथा वाष्प निकलती है तथा कुछ गेसर से थोड़ी मात्रा में ही जल एवं वाष्प निकलते हैं। इस आधार पर गेसर को दो वर्गों में विभाजित किया जाता है
कुण्ड गेसर (pool type of geyser)
जब गेसर का उद्गार खुले बड़े छिद्र से या कुण्ड से होता है तो उसे ‘कुण्ड प्रकार का गेसर’ कहते हैं। इस प्रकार के गेसर से अत्यधिक मात्रा में गर्म जल तथा वाष्प बाहर निकलती है। इस प्रकार के गेसर की नली काफी बड़ी होती है तथा अधिक जल धारण करने की क्षमता रखती है। जल की अधिकता तथा ऊपर आने की तीव्रता के कारण कुण्ड के पास जमाव नहीं हो पाता है।
संकरा गेसर
जब गेसर का उद्गार पतले तथा संकरे छिद्र अथवा सुराख से होता है तो उसे ‘संकरा गेसर’ कहते हैं। इस प्रकार गेसर अपने जमाव द्वारा शंकु बना लेते हैं तथा उनके बीच में संकीर्ण छिद्र से गर्म जल तथा वाष्प बाहर निकलती है, परन्तु इनकी मात्रा (जल तथा वाष्प) कुण्ड गेसर की अपेक्षा बहुत कम होती है। इनका मुख्य कारण गेसर द्रोणी का कम विस्तृत एवं छोटा होना होता है।
गेसर का वितरण (distribution of geyser)
गेसर तथा गर्म जलस्रोत के विश्व वितरण में कोई निश्चित क्रम नहीं पाया जाता है अथवा अक्षांश एवं जलवायु का कोई असर नहीं होता है। उदाहरण के लिए साइबेरिया में बर्फ से ढके भाग में भी गर्म जलस्रोत से जल निकलता है तथा भूमध्य रेखीय उष्ण भागों से भी गर्म जल निकलता है। इसका प्रमुख कारण इनका पृथ्वी के आन्तरिक भाग से सम्बन्धित होना है ।
यद्यपि गेसर सीमित क्षेत्र में पाए जाते हैं परन्तु उनके वितरण का कोई निश्चित क्रम नहीं है, क्योंकि प्रायः प्रत्येक महाद्वीपीय भाग में गेसर पाए जाते हैं। उत्तरी अमेरिका में गेसर ‘यलोस्टोन नेशनल पार्क‘ में, एशिया में तिब्बत में, यूरोप में आइसलैण्ड में तथा न्यूजीलैण्ड में गेसर पाए जाते हैं। केवल दक्षिणी अमेरिका तथा अफ्रीका में गेसर का अभाव पाया जाता है। फिर भी अजोर्स में कुछ गेसरों के प्रमाण मिलते हैं।
References
- भौतिक भूगोल, डॉ. सविन्द्र सिंह
Test Your Knowledge with MCQs
Q1: ‘गेसर’ शब्द की उत्पत्ति किस भाषा से हुई है?
a) लैटिन
b) ग्रीक
c) आइसलैंडिक
d) संस्कृत
Q2: गेसर क्या होते हैं?
a) ठंडे जल के स्रोत
b) गर्म जल के स्रोत
c) गैस के स्रोत
d) खनिज के स्रोत
Q3: गेसर का ज्वालामुखी क्रिया से क्या संबंध है?
a) यह ज्वालामुखी क्रिया का प्रमुख रूप है
b) यह ज्वालामुखी क्रिया का गौण रूप है
c) यह ज्वालामुखी क्रिया से संबंधित नहीं है
d) यह भूकंप से संबंधित है
Q4: गेसर और गर्म जलस्रोत में क्या अंतर है?
a) गेसर से निरंतर जल निकलता है
b) गर्म जलस्रोत से फुहारे के रूप में जल निकलता है
c) गेसर से सविराम जल निकलता है
d) गेसर में जल उछलता नहीं है
Q5: ‘ओल्ड फैथफुल गेसर’ कहाँ स्थित है?
a) आइसलैंड
b) न्यूजीलैंड
c) जापान
d) यलोस्टोन नेशनल पार्क, उत्तरी अमेरिका
Q6: कुण्ड गेसर का मुख्य लक्षण क्या है?
a) यह संकरे छिद्र से जल निकालता है
b) यह बड़े कुण्ड से जल निकालता है
c) यह जल नहीं निकालता
d) यह केवल वाष्प निकालता है
Q7: संकरा गेसर क्या है?
a) यह बड़े कुण्ड से जल निकालता है
b) यह संकरे छिद्र से जल निकालता है
c) यह केवल वाष्प निकालता है
d) यह जल और वाष्प दोनों नहीं निकालता
Q8: गेसर का मुख किससे जुड़ा होता है?
a) ज्वालामुखी के मुख से
b) भूमिगत जल भण्डार से
c) नदी से
d) समुद्र से
Q9: गेसर का वितरण किन महाद्वीपों में नहीं पाया जाता है?
a) उत्तरी अमेरिका और एशिया
b) दक्षिणी अमेरिका और अफ्रीका
c) यूरोप और न्यूजीलैंड
d) एशिया और यूरोप
Q10: गेसर से निकलने वाली वाष्प और जल की ऊँचाई कितनी हो सकती है?
a) 100 फीट
b) 500 फीट
c) 1500 फीट
d) 2000 फीट
Answers:
A1. c) आइसलैंडिक
A2. b) गर्म जल के स्रोत
A3. b) यह ज्वालामुखी क्रिया का गौण रूप है
A4. c) गेसर से सविराम जल निकलता है
A5. d) यलोस्टोन नेशनल पार्क, उत्तरी अमेरिका
A6. b) यह बड़े कुण्ड से जल निकालता है
A7. b) यह संकरे छिद्र से जल निकालता है
A8. b) भूमिगत जल भण्डार से
A9. b) दक्षिणी अमेरिका और अफ्रीका
A10. c) 1500 फीट
FAQs
गेसर सविराम गर्म जल और वाष्प को फुहारे के रूप में निकालते हैं, जबकि गर्म जलस्रोत से निरंतर गर्म जल निकलता रहता है।
ओल्ड फैथफुल गेसर यलोस्टोन नेशनल पार्क, उत्तरी अमेरिका में स्थित है।
कुण्ड गेसर वह होता है, जो बड़े और खुले छिद्र से गर्म जल और वाष्प निकालता है।
गेसर का वितरण दक्षिणी अमेरिका और अफ्रीका में नहीं पाया जाता है।
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