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जनसंख्या भूगोल में आंकड़ों का संग्रहण एक महत्वपूर्ण प्रक्रिया है, जिसके आधार पर विभिन्न सांख्यिकीय विश्लेषण और निष्कर्ष निकाले जाते हैं। जनसंख्या आंकड़ों को इकट्ठा करने की प्रक्रिया के अनुसार इन्हें मुख्य रूप से दो श्रेणियों में विभाजित किया जाता है: प्राथमिक आंकड़े और द्वितीयक आंकड़े। यह विभाजन विशेष रूप से भूगोल और जनसंख्या अध्ययन के क्षेत्र में अत्यंत महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह विभिन्न प्रकार के डेटा के स्रोत और उनकी वैधता को समझने में सहायता करता है। इस विषय की गहन समझ उन छात्रों के लिए अत्यावश्यक है जो B.A, M.A, UGC NET, UPSC, RPSC, KVS, NVS, DSSSB, HPSC, HTET, RTET, UPPCS, और BPSC जैसी प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे हैं, क्योंकि यह परीक्षा के लिए आवश्यक बुनियादी ज्ञान का हिस्सा है। इस परिचय में, हम प्राथमिक और द्वितीयक आंकड़ों के बीच के अंतर को समझेंगे और उनके विभिन्न प्रकारों का अध्ययन करेंगे। |
आंकड़ों को इक्कठा (संग्रह) करने की प्रक्रिया के अनुसार जनसंख्या आंकड़ों को मुख्य रूप से दो श्रेणियों में वर्गीकृत किया जाता है –
(1) प्राथमिक आंकड़े (Primary data)
(2) द्वितीयक आंकड़े (Secondary data)
जनसंख्या आंकड़ों के प्रकार
(1) प्राथमिक आंकड़े (Primary data)
प्राथमिक आंकड़े, वो आंकड़े होते हैं, जिन्हें पहली बार एकत्रित किया जाता हैं। इन्हें मौलिक आंकड़े (Basic Data) भी कहा जाता है। ऐसे आंकड़े कच्चे माल के रूप में होते हैं, जिनके प्रयोग से द्वितीयक आंकडों को प्राप्त किया जाते हैं। एक बार प्राथमिक आंकड़े सांख्यिकीय व्यवहार या किसी विशेष कार्य हेतु उपयोग में लाने के बाद इनका मौलिक स्वरूप बदल जाता है।
किसी व्यक्तिगत सर्वेक्षक या संस्था द्वारा प्रत्यक्ष गणना, मौखिक अन्वेषण (investigation), तालिका तथा प्रश्नावली और स्थानीय रिपोर्टों (local reports) के माध्यम से प्राथमिक आंकड़ों को एकत्रित किया जाता है। किसी क्षेत्र में नियत समय पर गणना द्वारा प्राप्त पुरुषों तथा स्त्रियों की संख्या, बच्चे, युवक-युवतियों तथा वृद्धों की संख्या, साक्षर व्यक्तियों की संख्या, श्रमिकों की संख्या आदि प्राथमिक आंकड़ों के उदाहरण हैं।
इसी प्रकार किसी निश्चित समयावधि में जन्में शिशुओं, मृत व्यक्तियों, प्रवासियों आदि की संख्याओं से सम्बन्धित आंकड़े भी इसी श्रेणी के अंतर्गत आते हैं क्योंकि इनका संग्रह पहली बार किया जाता है और वे अभी तक सांख्यिकीय प्रक्रिया में सम्मिलित नहीं होते हैं।
(2) द्वितीयक आंकड़े (Secondary data)
द्वितीयक आंकड़े वे होते हैं, जो प्राथमिक आंकड़ों पर आधारित होते हैं और सांख्यिकीय व्यवस्था के अंतर्गत कम से कम एक बार अवश्य गुजर चुके हों। ये प्रायः तैयार आंकड़े के रूप में होते हैं। कच्चेमाल के रूप में प्राथमिक आंकड़ों का प्रयोग करके विश्लेषण तथा विवेचन (interpretation) के उद्देश्य से विभिन्न सांख्यिकीय विधियों द्वारा द्वितीयक आंकड़े प्राप्त किये जाते हैं।
सांख्यिकीय प्रक्रिया द्वारा प्राथमिक आंकड़ों के स्वरूप में परिवर्तन से द्वितीयक आंकड़े निर्मित होते हैं। द्वितीयक आंकड़े सामान्यतः योग, प्रतिशत, अनुपात, सूचकांक आदि के रूप में व्यक्त किये जाते हैं। जनसंख्या का घनत्व, जन्मदर, मृत्युदर, स्त्री-पुरुष अनुपात, साक्षरता दर, निर्भता अनुपात, ग्रामीण-नगरीय अनुपात आदि द्वितीयक आंकड़ों के उदाहरण हैं। यहाँ यह भी उल्लेखनीय है कि कई दशाओं में प्राथमिक और द्वितीयक आंकड़ों में बहुत कम अन्तर पाया जाता है। किसी व्यक्ति द्वारा संग्रहीत जो आंकड़े उसके लिए प्राथमिक होते हैं, वही दूसरे व्यक्ति या संस्था के पास पहुँचने पर द्वितीयक हो सकते हैं।
Test Your Knowledge with MCQs
1. जनसंख्या आंकड़ों को कितनी श्रेणियों में वर्गीकृत किया जाता है?
a) 1
b) 2
c) 3
d) 4
2. निम्नलिखित में से कौन-सा प्राथमिक आंकड़ों का उदाहरण है?
a) जनसंख्या घनत्व
b) जन्म दर
c) क्षेत्र में नियत समय पर गणना द्वारा प्राप्त पुरुषों की संख्या
d) साक्षरता दर
3. प्राथमिक आंकड़ों को अन्य नाम से भी जाना जाता है, वह है –
a) द्वितीयक आंकड़े
b) मौलिक आंकड़े
c) सांख्यिकीय आंकड़े
d) योगात्मक आंकड़े
4. द्वितीयक आंकड़ों को प्राप्त करने के लिए किसका उपयोग किया जाता है?
a) प्रत्यक्ष गणना
b) सांख्यिकीय विधियों
c) प्रश्नावली
d) मौखिक अन्वेषण
5. निम्नलिखित में से कौन-सा द्वितीयक आंकड़ों का उदाहरण है?
a) प्रवासियों की संख्या
b) क्षेत्र में मृत्यु दर
c) क्षेत्र में जनसंख्या का घनत्व
d) क्षेत्र में शिशुओं की संख्या
6. द्वितीयक आंकड़ों का मुख्य उद्देश्य क्या होता है?
a) प्रत्यक्ष गणना करना
b) आंकड़ों का संग्रहण
c) विश्लेषण और विवेचन
d) आंकड़ों का वितरण
7. किस प्रकार के आंकड़ों में सांख्यिकीय प्रक्रिया के बाद मौलिक स्वरूप बदल जाता है?
a) द्वितीयक आंकड़े
b) प्राथमिक आंकड़े
c) मौखिक आंकड़े
d) क्षेत्रीय आंकड़े
8. एक बार उपयोग में लाने के बाद प्राथमिक आंकड़ों का स्वरूप क्या बन जाता है?
a) कच्चा माल
b) द्वितीयक आंकड़े
c) मौलिक आंकड़े
d) तैयार माल
9. प्राथमिक और द्वितीयक आंकड़ों में मुख्य अंतर क्या है?
a) संग्रह की विधि
b) स्थानांतरण की विधि
c) वितरण की विधि
d) मौलिकता
10. निम्नलिखित में से कौन-सी प्रक्रिया द्वितीयक आंकड़ों के निर्माण में सहायक होती है?
a) प्रत्यक्ष गणना
b) स्थानीय रिपोर्टों का संग्रहण
c) सांख्यिकीय विश्लेषण
d) मौखिक अन्वेषण
Answers:
- b) 2
- c) क्षेत्र में नियत समय पर गणना द्वारा प्राप्त पुरुषों की संख्या
- b) मौलिक आंकड़े
- b) सांख्यिकीय विधियों
- c) क्षेत्र में जनसंख्या का घनत्व
- c) विश्लेषण और विवेचन
- b) प्राथमिक आंकड़े
- b) द्वितीयक आंकड़े
- d) मौलिकता
- c) सांख्यिकीय विश्लेषण
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