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पर्वत (Mountain) भूगोल के अध्ययन में एक महत्वपूर्ण विषय है, विशेषकर उन विद्यार्थियों के लिए जो B.A, M.A, UGC NET, UPSC, RPSC, KVS, NVS, DSSSB, HPSC, HTET, RTET, UPPCS, BPSC आदि परीक्षाओं की तैयारी कर रहे हैं। पर्वत पृथ्वी की सतह पर उठे हुए भूभाग होते हैं, जो अपने आस-पास के क्षेत्रों से ऊँचे होते हैं और जिनकी ऊंचाई कम से कम 610 मीटर (2000 फीट) होती है। इस लेख में, हम पर्वतों के विभिन्न रूपों, जैसे पर्वत कटक, पर्वत श्रेणी, पर्वत श्रृंखला, पर्वत तंत्र, पर्वत वर्ग, पर्वत समूह, और पर्वत शिखर के बारे में विस्तार से चर्चा करेंगे। यह जानकारी परीक्षाओं में आपके लिए अत्यंत उपयोगी सिद्ध हो सकती है। |
Table of contents
इस लेख में हम पर्वत का अर्थ एवं पर्वत के विभिन्र रूपों के बारे में जानेंगे।
पर्वत का अर्थ (meaning of mountain)
पर्वत, पृथ्वी के धरातल पर द्वितीय श्रेणी के उच्चावच होते हैं । पर्वत उस श्रेणी अथवा ऊँचे उठे भूभाग को कहते हैं, जिसका ढाल तीव्र हो तथा वह अपने निकटवर्ती क्षेत्र से इतना अधिक ऊँचा हो (कम से कम 610 मीटर या 2000 फीट) कि वह दूर से ही दिखाई दे सके तथा उसका चोटी वाला हिस्सा पठार के तरह सपाट न होकर नुकीला हो।
पर्वत के रूप (Form of Mountain)
हमे धरातल पर पर्वत कई रूपों में दिखाई देते हैं जैसे: पर्वत कटक, पर्वत श्रेणी, पर्वत श्रृंखला, पर्वत तंत्र, पर्वत वर्ग, पर्वत समूह, पर्वत शिखर आदि। पर्वत के उपरोक्त रूपों का संक्षिप्त वर्णन नीचे किया गया है:
पर्वत कटक (mountain ridge)
उन संकीर्ण एवं ऊँची पहाड़ियों को ‘पर्वत कटक‘ कहा जाता है, जो कि आकार में लम्बे तथा संकरे होते हैं। इनका निर्माण चट्टानों के स्तरों के मुड़ने पर से होता है।
पर्वत श्रेणी (mountain range)
पहाड़ों व पहाडियों के क्रम (series) को ‘पर्वत श्रेणियाँ’ कहते हैं, जिनमें कई कटक, शिखर तथा घाटियाँ शामिल होती हैं। इनका फैलाव एक सीध में संकरी पट्टी में (लम्बाई में) एक रेखा के रूप में होता है। वास्तव में एक ही काल में निर्मित, विभिन्न पर्वतों के निश्चित क्रम को पर्वत श्रेणी कहा जाता है। हालांकि इनकी आकृति, बनावट तथा उत्पत्ति एक ही युग में होती है लेकिन इनकी रचना में (चट्टानों की बनावट में) अन्तर होता है। उदाहरण के रूप में हिमालय की तीनों पर्वत श्रेणियां (महान हिमालय, लघु हिमालय व शिवालिक)।
पर्वत श्रृंखला (mountain chain)
पर्वत श्रृंखला को पर्वत माला भी कहा जाता है। भिन्न-भिन्न प्रकार से निर्मित लम्बे तथा संकरे पर्वतों जिनका विस्तार समानान्तर रूप में पाया जाता है तथा जिनकी उत्पत्ति विभिन्न युगों में हुई हो, उसे पर्वत श्रृंखला कहा जाता है। कभी-कभी विभिन्न श्रेणियों के बीच सपाट भाग अथवा पठार भी पाए जाते हैं। अप्लेशियन पर्वत माला इसका प्रमुख उदाहरण है।
पर्वत तन्त्र (mountain system)
एक ही युग में निर्मित विभिन्न पर्वत श्रेणियों के समूह को पर्वत तन्त्र कहते हैं । वास्तव में यह एक लम्बाकार पर्वत समूह होता है, जिसमें अनेक एकाकी पर्वत या पर्वत श्रेणियाँ या दोनों साथ-साथ पाई जाती हैं। इसमें पर्वत श्रेणियाँ (एक ही युग) एक दूसरे के समानान्तर होती हैं जो घाटियों तथा तलहटियों द्वारा प्रायः अलग होती हैं। अप्लेशियन पर्वत, पर्वत तंत्र का सबसे अच्छा उदाहरण है।
पर्वत वर्ग (mountain group)
पर्वत वर्ग को पर्वत समुदाय भी कहा जाता है जो कि पर्वतों का एक उच्च स्थल खण्ड होता है, परन्तु पर्वतों का कोई निश्चित क्रम नहीं पाया जाता है। जब किसी प्रदेश के कटक तथा श्रेणियाँ पर्वतमाला की तरह विस्तृत तो होती हैं, परन्तु माला की तरह एक सीध में लम्बी रेखा के रूप में विस्तृत न होकर असमान रूप में फैली होती हैं, तो उन्हें ‘पर्वत वर्ग’ कहा जाता है। पर्वत वर्ग में साधारणतया कटक एवं श्रेणियाँ गोलाकार रूप में पाई जाती हैं।
पर्वत समूह (cordillera)
पर्वत वर्ग के समूह को पर्वत समूह अथवा पर्वत प्रदेश कहा जाता है। पर्वत प्रदेश में विभिन्न युगों में भिन्न प्रकार से निर्मित पर्वत श्रेणियाँ (ranges), पर्वत तन्त्र (systems) तथा पर्वत श्रृंखलाएँ (chains) पाई जाती हैं। वास्तव में विभिन्न पर्वत तंत्रों का समूह ही ‘पर्वत प्रदेश’ होता है। इनमें पर्वत श्रेणियों, पर्वत, श्रृंखलाओं तथा क्रमों का रूप निश्चित नहीं होता है।
इनकी व्यवस्था कई प्रकार की हो सकती है। कहीं पर पर्वत श्रेणियाँ समानान्तर स्थित होती हैं तो कहीं पर केन्द्रीय गाँठ से चारों तरफ फैली होती हैं। पर्वत प्रदेश की विभिन्न श्रेणियों के बीच घाटियों या पठारों का पाया जाना आवश्यक होता है। उत्तरी अमेरिका का प्रशान्त तटीय पर्वतीय भाग पर्वत प्रदेश या पर्वत समूह का प्रमुख उदाहरण है। इसे प्रशांत कार्डिलरा (Pacific Cordillera) कहते हैं।
पर्वत शिखर (mountain peak)
किसी पहाड़ अथवा पहाड़ी की चोटी (सर्वोच्च नुकीला भाग) को, जो कि पर्वत श्रेणी के अन्य भागों तथा आस-पास के प्रदेश से अधिक ऊँची होती है, को शिखर कहते हैं। पर्वत शिखर का आकार प्राय: सामान्य गुम्बद की तरह, पिरामिड की तरह, सुई की तरह नुकीला तथा सींग की तरह हुआ करता है।
References
1.भौतिक भूगोल, डॉ. सविन्द्र सिंह
Test Your Knowledge with MCQs
उत्तर अंत में दिए गए हैं:
- पर्वत की न्यूनतम ऊँचाई कितनी होनी चाहिए जिससे कि वह पर्वत की श्रेणी में आ सके?
a) 100 मीटर
b) 500 मीटर
c) 610 मीटर
d) 800 मीटर - किस प्रकार की पर्वत श्रृंखला में समानान्तर रूप से विस्तारित लम्बे तथा संकरे पर्वत शामिल होते हैं?
a) पर्वत कटक
b) पर्वत श्रेणी
c) पर्वत तंत्र
d) पर्वत श्रृंखला - हिमालय की कौन सी श्रेणी सबसे ऊँची है?
a) शिवालिक
b) लघु हिमालय
c) महान हिमालय
d) किसी भी श्रेणी में नहीं आता - ‘पर्वत कटक’ शब्द का क्या अर्थ है?
a) संकीर्ण एवं ऊँची पहाड़ियों की श्रृंखला
b) पर्वत श्रृंखला का सर्वोच्च भाग
c) चट्टानों के स्तरों के मुड़ने से उत्पन्न उच्चावच
d) उपरोक्त सभी - पर्वत समूह या पर्वत प्रदेश को और क्या कहा जाता है?
a) पर्वत वर्ग
b) पर्वत तंत्र
c) कार्डिलेरा
d) पर्वत माला - निम्नलिखित में से कौन सा पर्वत तंत्र का उदाहरण है?
a) अप्लेशियन पर्वत
b) आल्प्स पर्वत
c) रॉकी पर्वत
d) आंडीज पर्वत - किस प्रकार के पर्वत में कटक एवं श्रेणियाँ गोलाकार रूप में पाई जाती हैं?
a) पर्वत कटक
b) पर्वत श्रेणी
c) पर्वत तंत्र
d) पर्वत वर्ग - पर्वत शिखर का आकार कैसा हो सकता है?
a) गुम्बद की तरह
b) पिरामिड की तरह
c) सुई की तरह
d) उपरोक्त सभी - पर्वत तंत्र में क्या शामिल होते हैं?
a) केवल एकाकी पर्वत
b) केवल पर्वत श्रेणियाँ
c) एकाकी पर्वत और पर्वत श्रेणियाँ दोनों
d) केवल पर्वत माला - उत्तरी अमेरिका का प्रशान्त तटीय पर्वतीय भाग किसका प्रमुख उदाहरण है?
a) पर्वत कटक
b) पर्वत श्रेणी
c) पर्वत तंत्र
d) पर्वत समूह
उत्तर:
- c) 610 मीटर
- d) पर्वत श्रृंखला
- c) महान हिमालय
- c) चट्टानों के स्तरों के मुड़ने से उत्पन्न उच्चावच
- c) कार्डिलेरा
- a) अप्लेशियन पर्वत
- d) पर्वत वर्ग
- d) उपरोक्त सभी
- c) एकाकी पर्वत और पर्वत श्रेणियाँ दोनों
- d) पर्वत समूह
FAQs
पर्वत श्रृंखला (mountain chain) एक लम्बी और संकरी श्रृंखला होती है जो समानान्तर रूप से विस्तारित होती है, जबकि पर्वत तंत्र (mountain system) विभिन्न पर्वत श्रेणियों के समूह होते हैं, जो एक लम्बाकार संरचना बनाते हैं।
पर्वत समूह या पर्वत प्रदेश (Cordillera) में विभिन्न युगों में बने विभिन्न प्रकार के पर्वत श्रेणियाँ, तंत्र और श्रृंखलाएँ शामिल होती हैं। इनमें विभिन्न प्रकार के पर्वत तंत्रों का समूह होता है।
उत्तरी अमेरिका का प्रशान्त तटीय पर्वतीय भाग पर्वत समूह या कार्डिलेरा का प्रमुख उदाहरण है। इसे प्रशांत कार्डिलरा (Pacific Cordillera) कहते हैं।
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